सूचना भवन, दुमका
प्रेस विज्ञप्ति
संख्या 207 दिनांक - 23/11/2013
माननीय सर्वोच्च न्यायालय, नालसा व माननीय झारखण्ड उच्च न्यायालय झालसा, राॅची के निर्देषानुसार जिला विधिक सेवा प्राधिकार, दुमका के तत्वाधान में राष्ट्रीय लोक अदालत का उद्घाटन माननीय न्यायाधीष न्यायमुर्ति श्री अपरेष कुमार सिंह, माननीय झारखण्ड उच्च न्यायालय के द्वारा किया गया। उन्होंने कहा कि आज राष्ट्रीय पर्व का माहौल है। उन्होंने लोगों कि इतनी ज्यादा उपस्थिति देखकर प्रसन्नता प्रकट किया। उन्होंने कहा कि न्यायपालिका, कार्यपालिका, विधायिका, जनता सभी के आपसी सहयोग से ही यह कार्यक्रम सफल हो पाया है। महात्माँ गांधी का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि दक्षिण अफ्रीका में वकालत के दौरान वे उन मामलों को कोर्ट में हरगिज नहीं ले जाते थे जिनका निपटारा उनकी टेबल पर संभव होता था। जब मैं खुद वकालत करता था तो जिन मामलों में 50 प्रतिषत से ज्यादा केस जीतने की संभावना होती थी उन्हीं मामलों को कोर्ट में ले जाया करता था अन्यथा रिकाॅन्षिलियेषन, आरबीट्रेषन इत्यादि के जरिये सुलझा देता था। इससे मुझे अपार सुख मिलता था। उन्होंने अधिवक्ता को समाज का एक लीडर बताते हुए कहा कि उनके दिषा निर्देष में आम जनता के समय एवं धन की बचत होती है। हरएक नागरिक आपस के रगड़े से उपर उठकर देष के हित में काम करें तभी सही मायने में वे वीर महापुरूषों की शहादत को सच्ची श्रद्धांजली अर्पित कर सकेंगे। यह हम सभी देषवासियों का कर्तव्य है कि हम देष की एकता एवं अखंडता को अक्षुण्ण बनाए रखें एवं पूर्वजों की दी हुई आजादी का सम्मान करें। जो बात आपसी सुलह समझौते से हल हो सकता है उसे कोर्ट में न ले जाएँ इससे उनके धन एवं वक्त की बचत होगी। साथ ही साथ न्यायालय पर भी अतिरिक्त बोझ नहीं पड़ेगा एवं कीमती समय की बचत होगी। इस अवसर पर श्री एस0 के0 यादव, प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीष ने कहा कि मुझे खुषी है कि आज हमारे जिले में अधिक से अधिक मामलों का निपटारा संभव हो पाया है। जिला प्रषासन, पुलिस प्रषासन, विभिन्न विभागों, बैंकों, बी0एस0एन0एल0 के द्वारा सहयोग मिलने के कारण ही यह कार्यक्रम सफल रहा। कई बार उपायुक्त, पुलिस अधीक्षक, प्रखंड विकास पदाधिकारी, नगर पर्षद के पदाधिकारी के साथ इस संदर्भ में बैठकें की गई जिसका परिणाम आज हमारे सामने है।
इस अवसर पर प्रधान न्यायाधीष कुटुम्ब न्यायालय, अध्यक्ष बार एसोषियेषन दुमका, पुलिस अधीक्षक, उप विकास आयुक्त एवं न्यायपालिका के पदाधिकारीगण, अधिवक्तागण एवं कर्मचारीगण तथा आम जनता भी उपस्थित थे।
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