Friday 6 April 2018

दुमका 06 अप्रैल 2018
प्रेस विज्ञप्ति संख्या - 173 
पर्यटन मंत्रालय की केंद्रीय अपर निदेशक श्रीमती मीनाक्षी शर्मा ने बासुकीनाथ धाम पहुंचकर भारत सरकार की महत्वकांक्षी योजना तीर्थ स्थल का कायाकल्प और प्रसाद योजना के तहत बासुकीनाथ के विकास पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि श्रावणी मेला के दौरान तथा अन्य दिनों में यहां आने वाले श्रद्धालुओं को ध्यान में रखते हुए बासुकीनाथ धाम को श्रद्धालुओं के लिए और भी सुविधाजनक बनाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि स्पेशल टीम आकर बासुकीनाथधाम स्थित शिवगंगा का निरीक्षण करेगी तथा उसके साफ-सफाई के लिए ब्लू प्रिंट तैयार करेगी। उन्होंने कहा कि बासुकीनाथ धाम में साफ सफाई का स्तर बेहतर है लेकिन  साफ सफाई पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है ताकि देश विदेश से आने वाले श्रद्धालु इस धार्मिक स्थल से एक अच्छा संदेश लेकर जाएं। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार निश्चित रूप से बासुकीनाथधाम के विकास के लिए कार्य करेगी। केंद्र सरकार ऐसे पर्यटन स्थलों को विकसित करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि मंदिर के विकास के लिए एक विस्तृत प्रोजेक्ट प्रतिवेदन तैयार करने की जरूरत है। प्रोजेक्ट तैयार होने के उपरांत भारत सरकार उस प्रोजेक्ट पर कार्य करेगी। इसके उपरांत उन्होंने ऐतिहासिक टेराकोटा मंदिरों के गांव से प्रसिद्ध मलूटी पहुंचकर मंदिरों का अवलोकन किया। मंदिरों के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए संबंधित विभाग के अधिकारी से विस्तृत रूप में चर्चा की। उन्होंने कहा कि मलूटी वास्तव में पर्यटकों को अपनी और आकर्षित करता है। इसके मूल रूप  को बचाए रखने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि गणतंत्र दिवस के अवसर पर मलूटी पर निकली झांकी में देश के मानचित्र पर अपनी एक अलग पहचान बनाई है। राज्य तथा केंद्र सरकार  मलूटी का सर्वांगीण विकास करेगी ताकि आने वाले दिनों में यहां आने वाले पर्यटकों में बढ़ोतरी होे। उन्होंने कहा कि दुमका जिले में पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं। यह जिला पर्यटन के दृष्टिकोण से पर्यटकों के लिए एक बेहतर टूरिस्ट स्पॉट बनेगा। उन्होंने संबंधित विभाग के अधिकारी को निदेश दिया कि मलूटी के वेबसाइट और जानकारी को भारत सरकार के पर्यटन विभाग के वेबसाइट से टैग करें ताकि पूरे भारत के लोगों को टेराकोटा के मंदिर मलूटी के बारे में जानकारी प्राप्त हो सके।
इस दौरान पर्यटन विभाग के निदेशक संजीव बेसरा तथा जिला प्रशासन के अधिकारीगण उपस्थित थे।










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